राॕयल गाँव मेरा अभिमान खारियाबास तहसील राजगढ़ जिला चुरू
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खारियाबास का ताजमहल |
राॕयल गाँव मेरा अभिमान खारियाबास तहसील राजगढ़ जिला चुरू
खारिया बास का परिचय इतिहास भारत के राजस्थान में एक गांव खारिया बास है जिसकी स्थापना खड़कसिह ने 29 मई 1605 में की थी! यह अपनी अनोखी विशेषताओं के लिए प्रसिद्ध है यह गांव चूरू जिले की राजगढ़ तहसील में स्थित है यह गांव राजगढ़ से झुंझुनू मार्ग पर राजगढ़ से 22 किलोमीटर दूर दक्षिण दिशा में स्थित है वर्तमान में लीलावठी ग्राम पंचायत के अधीन आता है खारिया बास झून्झूनू से 45 किलोमीटर उतर दिशा मे व पिलानी से 60 किलोमीटर पश्चिम दिशा मे और भी चूरु से 65 किलोमीटर दूरी पर पूर्व दिशा में स्थित है श्री झुंझार जी महाराज का मंदिर:- खारिया बास 300 घरो की बस्ती है आज से लगभग 417 वर्ष पहले इस गांव का विकास हुआ वर्तमान में इस गांव में सभी जाति के लोग आपस में भाईचारे से रहते हैं यह गांव राजनीतिक दृष्टि से बहुत महत्व रखता हैा गांव में विश्व प्रसिद्ध श्री झुंझार जी महाराज का मंदिर है जिसमें प्रतिवर्ष भाद्रपद माह को जागरण व मेला भरता हैजिसमें लाखों श्रद्धालु प्रतिवर्ष आते है खारिया गांव के सभी लोग आपसी भाईचारे से रहते हैंश्री झुंझार जी महाराज को गायों का रक्षक देवता माना जाता है ठाकुर जी महाराज का मंदिर :- गांव खारीया बास में झूझार जी महाराज के अलावा ठाकुर जी महाराज(श्री कृष्ण जी) का मंदिर है जिसमें भगवान श्री कृष्ण की काले रंग की 2500 साल पुरानी धातु की मूर्ति है यहा यह तथ्य उल्लेखित करना आवश्यक है कि इसके अलावा यहा बालाजी महाराज व शिव जी का भी मंदिर है जो यहां के लोगों की धार्मिक भावना को झलकाते हैं कि यहा के लोग धार्मिक व परोपकारी है! सामुदायिक निवास स्थल :- गांव खारीया बास में दो सामुदायिक निवास स्थल है गांव खारीया बास की सरकारी स्कूल उच्च प्राथमिक विद्यालय झुंझुनू राजगढ़ सड़क मार्ग पर स्थित है स्कूल के पास में स्थित खेल ग्राउंड मूलभूत सुविधाओं से युक्त है खारिया गांव में सबसे अधिक सरकारी नौकरी करने वाले हैं खारिया गांव आर्थिक दृष्टि से अत्यधिक संपन्न गांव है यह सांखू फोर्ट के एकदम समीप है खारिया गांव के समीप एक बीड़ है जिसमें चिंकारा हिरण व नीलगाय बहुतायत में पाए जाते हैं पारंपरिक खेल चौपड़ :- खारिया गांव में पारंपरिक खेल चौपड़ आज भी लोग खेलते हुए मिल जाते हैं चौपड़ का खेल खारिया गांव का निजी खेल माना जाता है खारिया गांव के ग्रामीणों ने चौपड़ के खेल को ओलंपिक खेल में शामिल करने की मांग की है! खारिया गांव के 300 घरो की बस्ती में महीने मे कम से कम डेढ़ करोड़ रुपए का टर्नओवर होता है है खारिया गांव के लोगौ पास लगभग 4000 बीघा जमीन है इसमें वह फसल उगा कर अपनी आर्थिक स्थिति को मजबूत करते है जनसंख्या व साक्षरता जनगणना 2011 के अनुसार खारिया बास की जनसंख्या 1042 है इसमें से 541 पुरुष वह 501 महिला है यहां यह तथ्य को लिखित करना आवश्यक है कि 2022 में खारिया बास की जनसंख्या लगभग 2000 के करीब है 2011 की साक्षरता के अनुसार खारिया बास की साक्षरता दर 70 . 03% है| जो राजस्थान की साक्षरता दर 66 .11% से ज्यादा है खारिया बास में पुरुष साक्षरता दर 82.2 7% व महिला साक्षरता दर 57 .0 2% है खारिया बास में 578 लोग विभिन्न व्यवसाय ,सरकारी नौकरियों में है जिनमें 284 पुरुष वह 294 महिला है खारिया गांव के युवा विभिन्न क्षे़त्रों में गाँव का नाम रोशन कर रहे है खारिया बास के युवा खेलों में राज्य स्तर व राष्ट्रीय स्तर से मेडल प्राप्त किए हैं और आगे भी खारिया बास का नाम रोशन करने के लिए कड़ी मेहनत कर रहे हैं
खारिया गांव के सभी लोग ईमानदार कर्मठ व मेहनती है मेरा गांव मेरा अभिमान! सधन्यवाद राॕयल गाँव मेरा अभिमान खारियाबास तहसील राजगढ़ जिला चुरू
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